पुलवामा आतंकी हमले में शहीद महराजगंज के पंकज त्रिपाठी का पार्थिव शरीर शनिवार अपराह्न 11:40 बजे फरेंदा तहसील के हरपुर बेलहिया टोला पहुंचा। वीर सपूत के तिरंगे में लिपटे ताबूत को देख गांव का हर जर्रा-जर्रा रोया। सभी बस पंकज को एक झलक देखने के लिए बेताब दिखे। पत्नी रोहिणी ताबूत से लिपट कर दहाड़े मारकर रोने लगी। वह बार-बार पंकज का मुंह दिखाने की गुहार लगाती रही।
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लेकिन हमले में शहीद का शरीर क्षत विछत होने से सभी रोहिणी को संभालने में लगे रहे। मां सुशीला अपने लाल को ताबूत में देखकर बार-बार बेहोश हो जा रही हैं। पिता ओमप्रकाश त्रिपाठी बेसुध पड़े हैं। छोटे भाई शुभम को रिश्तेदारों और ग्रामीणों ने किसी तरह से संभाला। इस बीच त्रिपाठी परिवार के साथ पूरा हरपुर गांव रोया। शहीद पंकज अमर रहे के गगनभेदी नारे के साथ पूरा गांव सरकार से शहादत का हिसाब भी मांग रहा था। अपराह्न 12:07 बजे राजकीय सम्मान के साथ शहीद की अंतिम यात्रा गांव से रवाना हुई।
अपराह्न 1:30 बजे रोहिन नदी के त्रिमुहानी घाट पर उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा। इस बीच केंद्रीय राज्य मंत्री शिव प्रताप शुक्ल के साथ जिले के प्रभारी मंत्री रमापति शास्त्री, सांसद पंकज चौधरी, डीएम अमरनाथ उपाध्याय, एसपी रोहित सिंह सजवाण और एसएसबी के कमांडेंट भी मौजूद रहेंगे।
गुरुवार रात करीब दस बजे सीआरपीएफ कमांडेंट ने फोन कर पिता ओमप्रकाश त्रिपाठी को पंकज के लापता होने की सूचना दी। पूरी रात परिजन अनहोनी की आशंका में बेचैन रहे। शुक्रवार सुबह जम्मू से शहादत की खबर घर पहुंची तो चीख पुकार मच गई। पूरा गांव पंकज के घर उमड़ पड़ा। गर्भवती पत्नी रोहिणी बेसुध हो गई। माता सुशीला बार-बार पंकज का नाम लेकर बेहोश हो जा रही थीं। इस बीच पंकज का पार्थिव शरीर शनिवार 11:40 पर गांव पहुंचा।
दिसंबर में आए थे दो महीने की छुट्टी पर
दिसंबर 2018 के पहले सप्ताह में वह दो महीने की छुट्टी लेकर गांव आए। पत्नी और परिवार के साथ हंसी खुशी समय बीत रहा था। जनवरी अंतिम सप्ताह में उनके बाबा का निधन हो गया। ऐसे में पंकज ने छुट्टी 15 दिन और बढ़वा ली। करीब ढाई महीने की छुट्टी के बाद वह दस फरवरी को ड्यूटी पर जम्मू के लिए रवाना हुए।
गुरुवार को जम्मू से पंकज पूरी टीम के साथ तड़के 3:30 बजे श्रीनगर के लिए निकले। लेकिन इसी बीच जम्मू-श्रीनगर नेशनल हाईवे पर पुलवामा के अवंतिपोरा क्षेत्र में जैश आतंकी आदिल अहमद ने विस्फोटकों से भरी कार से सीआरपीएफ काफिले की बस को टक्कर मार दी। पूरी बस के परखचे उड़ गए। इसी बस में पंकज भी सवार थे।
Source :- livehindustan.com